by manjushaa | Feb 2, 2019 | Manjusha Artists
कोई भी कला तबतक जीवित नहीं रह सकती जबतक उसे जीविका से ना जोड़ा जाए। पर यह इतना आसान भी नहीं है। मिलते हैं आज मुनमुन देवी से जिनकी ज़िद इस कला को मुक़ाम तक ले जाएगी। घरेलू काम से इतर जो भी समय इनके पास होता है वो पूरा समय मंजूषा कला को देती हैं। दिन में 8 घंटे से अधिक...